साय कैबिनेट की बैठक में किसानों और उद्योगों के लिए बड़ा फैसला : फरवरी में मिलेगी धान खरीदी के अंतर की राशि…स्टील प्लांट को बिजली बिल में मिलेगी राहत

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  • जरूरतमंद लेखकों और कलाकारों को मिलेगी 50 हजार रू. की सहायता राशि

  • नेशनल स्टॉक एक्सचेंज के साथ प्रदेश सरकार करेगी एमओयू

रायपुर। आचार संहिता से पहले रविवार को साय कैबिनेट बैठक आयोजित की गई। बैठक में किसानों और उद्योगों के लिए बड़ा फैसला लिया गया है। किसानों को फरवरी में धान खरीदी के अंतर की राशि मिलेगी। वहीं शर्तों के साथ स्टील प्लांट को बिजली बिल में भी राहत मिलेगी।

इस साल भी समर्थन मूल्य पर धान बेचने वाले राज्य के लगभग 27 लाख किसानों को 3100 रुपए प्रति क्विंटल की दर से भुगतान होगा। समर्थन मूल्य 2300 रुपए प्रति क्विंटल की दर से धान खरीदी की जा रही है। इसका भुगतान किसानों को किया जा रहा है। अंतर की राशि 800 रुपए आदान सहायता के रूप में एकमुश्त फरवरी 2025 में दी जाएगी। खरीफ विपणन वर्ष 2024-25 में खरीदे गए अतिरिक्त धान को ऑनलाइन प्लेटफॉर्म के जरिए नीलाम करने का फैसला लिया गया है। कैबिनेट ने मिनी स्टील प्लांट और उन उद्योगों को, जिनके पास कैप्टिव पावर प्लांट नहीं है या एक मेगावॉट से कम क्षमता का है, उन्हें बिजली पर प्रति यूनिट 1 रुपए की छूट देने का फैसला किया है। ये फैसला 1 अक्टूबर 2024 से 31 मार्च 2025 तक के लिए लागू है।

राज्य के जरूरतमंद लेखकों और कलाकारों को मिलने वाली आर्थिक सहायता बढ़ाई गई है। अब 25 हजार रुपए की जगह 50 हजार रुपए की सहायता दी जाएगी। मृत्यु होने पर उनके परिवार को 1 लाख रुपए की आर्थिक मदद मिलेगी।

युवाओं के लिए

छत्तीसगढ़ सरकार ने नेशनल स्टॉक एक्सचेंज के साथ एमओयू करने का फैसला लिया है। इसके तहत छात्रों में फाइनेंस और इनवेस्टमेंट से जुड़ी स्किल डेवलेप की जाएगी। यह प्रशिक्षण हाई स्कूल, हायर सेकेंडरी और कॉलेज के छात्रों के लिए होगा।

जमीन से जुड़े फैसले

नवा रायपुर में श्री सत्य साईं हेल्थ एंड एजुकेशन ट्रस्ट को 5 एकड़ जमीन मुफ्त दी जाएगी। नवा रायपुर में द आर्ट ऑफ लिविंग सेंटर के लिए 40 एकड़ जमीन रियायती दर पर दी जाएगी। छत्तीसगढ़ गृह निर्माण मण्डल के 5 साल से नहीं बिके मकानों और व्यवसायिक संपत्तियों को 10 प्रतिशत, 20 प्रतिशत, और 30 प्रतिशत की छूट देकर बेचा जाएगा।

वाणिज्यिक कर विभाग में एक नया पद अपर आयुक्त आबकारी बनाया जाएगा। प्रधानमंत्री आवास योजना-शहरी के तहत 1.32 लाख लाभार्थियों को 3938.80 करोड़ रुपए की सहायता दी जाएगी। महिला स्व-सहायता समूहों को 5 जिलों में रेडी टू ईट खाद्य निर्माण का काम दिया जाएगा। पंचायती राज अधिनियम के तहत पिछड़ा वर्ग आरक्षण से संबंधित अध्यादेश की अवधि बढ़ाई जाएगी।

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